चीन में फैले कोरोना जैसे वायरस ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) की भारत में भी एंट्री हो गई है, जिससे लोग डर गए हैं. लोगों के जेहन में कोरोना वायरस संक्रमण की बुरी यादों को ताजा कर दिया है. भारत में अब तक 7 केस सामने आ चुके हैं. इसमें से 2 मामले कर्नाटक से सामने आएं हैं, जिनमें एक तीन महीने की बच्ची और एक 8 महीने का बच्चा है. दो केस तमिलनाडु में, 2 केस महाराष्ट्र के नागपुर में और अहमदाबाद में 2 महीने के बच्चे में एचएमपीवी वायरस पाया गया है. ये बच्चे कैसे एचएमपीवी वायरस के संपर्क में आए, ये अभी पता लगाया जा रहा है. भारत ने एचएमपीवी वायरस से निपटने के लिए तैयारियां कर ली हैं. राज्य सरकारें भी अपने स्तर पर तैयारियां कर रही हैं. दिल्ली सरकार ने एडवाइजरी जारी की है, तो उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज बैठक बुलाई है.
महाराष्ट्र में भी एचएमपीवी वायरस ने दस्तक दे दी है. नागपुर में एचएमपीवी वायरस के 2 मरीज मिले हैं. यहां भी बच्चे ही इस वायरस की गिरफ्त में आए हैं, दो बच्चों की रिपोर्ट एचएमपीवी पॉजिटिव आई है. 3 जनवरी को निजी अस्पताल में सात साल के बच्चे और 13 साल की बच्ची की रिपोर्ट पॉजिटिव आई. इन दोनों बच्चों को खांसी और बुखार था.
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा का कहना है कि एचएमपीवी वायरस से घबराने की जरूरत नहीं है. ये वायरस भारत में 2001 से है. एचएमपीवी वायरस इतना खतरनाक नहीं है जितना इसके बारे में सोशल मीडिया पर बातें हो रही हैं. HMPV कोई नया वायरस नहीं है. यह कई सालों से पूरी दुनिया में फैल रहा है. हम स्थिति पर बारीकी से नज़र रख रहे हैं. हम ये कह सकते हैं कि चिंता का कोई कारण नहीं होना चाहिए. आईसीएमआर (ICMR) ने भी लोगों को कहा है कि HMPV वायरस नया नहीं है. यह पहले से ही भारत सहित दुनियाभर में मौजूद रहा है. इसलिए घबराने की जरूरत नहीं है. बस लोग एहतियात बरतें.
एचएमपीवी वायरस पर दिल्ली सरकार ने गाइडलाइन जारी की है. दिल्ली में अधिकारियों को नजर रखने के लिए कहा गया है. सांस संबंधी मामलों की निगरानी का निर्देश दिए गए है. अस्पतालों को निर्देश दिये गए हैं कि खांसी-जुकाम से जुड़े मामलों को गंभीरता से लिया जाए. अगर किसी में एचएमपीवी वायरस के लक्षण नजर आते हैं, तो उसकी जांच की जाए. हालांकि, दिल्ली में अभी तक एचएमपीवी वायरस का कोई मामला सामने नहीं आया है. चीन के इस वायरस के बढ़ रहे केस पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वास्थ्य और गृह विभाग के अफ़सरों की बैठक बुलाई है. ये बैठक आज लखनऊ में होनी है.
एचएमपीवी वायरस के लक्षण हैं खांसी, बुखार, गले में खराश, गले में जलन और कुछ मामलों में सांस लेने में दिक्कत. कुछ मामलों में इसका संक्रमण ब्रोंकाइटिस, निमोनिया या अस्थमा के लक्षणों में भी बदल सकता है. HMPV खांसने या छींकने से निकलने वाले ड्रापलेट्स, हाथ मिलाने से फैलता है. इसके अलावा ये किसी को स्पर्श करने. नजदीकी संपर्क में आने, दूषित सतहों पर हाथ लगाने, मुंह, नाक या आंखों को छूने से फैलता है.
वैसे तो ये वायरस सभी सभी उम्र के लोगों को प्रभावित कर सकता है, लेकिन ज्यादा खतरा 5 साल से कम उम्र के बच्चों और 65 साल से अधिक उम्र के लोगों को रहता है. साथ ही कमजोर इम्युनिटी वाले लोग, अस्थमा या दूसरे सांस की समस्या वाले लोगों को इसका अधिक खतरा होता है. इस वायरस को फैलने से रोकने के लिए कुछ उपायों पर जोर दिया गया है. जिसमें से हाथ धोना, मास्क पहनना और समय पर जांच कराना जरूरी बताया गया है. HMPV और कोविड-19 में कई तरह की समानताएं हैं. जैसे ये दोनों सांस से संबंधित बीमारी का कारण बनते हैं. दोनों बुजुर्गों, कमजोर इम्युनिटी वाले लोगों के लिए ज्यादा खतरा पैदा करते हैं. साथ ही इन दोनों बीमारियों के कई लक्षण मिलते जुलते हैं.
ऐसा दावा किया जा रहा है कि एचएमपीवी वायरस चीन में हजारों लोगों को अपनी गिरफ्त में ले चुका है. वहां हालात बेकाबू हो रहा हैं, अस्पतालों के बाहर मरीजों की भीड़ नजर आ रही है. हालांकि, चीन का कहना है कि मीडिया खबरों में कोई सच्चाई नहीं है. ये मौसम बदलने का असर है. ठंड बढ़ने से आमतौर पर लोग खांसी-जुकाम की समस्या से जूझते हैं. ये भी मौसम की वजह से ही हो रहा है. चीन के सरकारी ब्रॉडकास्टर सीसीटीवी की रिपोर्ट के अनुसार, दिसंबर के अंत में चीनी सीडीसी के आंकड़ों के मुताबिक, 14 वर्ष और उससे कम आयु के मामलों में एचएमपीवी की पॉजिटिव दर में हाल ही में वृद्धि हुई है. एचएमपीवी वायरस से छोटे बच्चे, वृद्ध और कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले लोग इससे ज्यादा प्रभावित होते हैं. सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एसएआरएस-सीओवी-2 (कोविड-19) हैंडल से किए गए पोस्ट में कहा गया है, 'चीन इन्फ्लूएंजा ए, एचएमपीवी, माइकोप्लाज्मा न्यूमोनिया और कोविड-19 सहित कई वायरसों का सामना कर रहा है, जिससे अस्पतालों और श्मशानों पर बोझ बढ़ गया है. अस्पतालों में बच्चों को भर्ती कराया जा रहा है. बच्चों में निमोनिया बढ़ रहा है और 'व्हाइट लंग' के मामले भी प्रकाश में आ रहे हैं.'
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Reported by: भाषा, Written by: मोहित चतुर्वेदीकेंद्र सरकार ने विश्व स्वास्थ्य संगठन को पहले ही कह दिया है कि हमें समय-समय पर ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) वायरस से संबंधित अपडेट देते रहना चाहिए. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कहा है कि भारत का निगरानी नेटवर्क सतर्क बना हुआ है. देश किसी भी उभरती स्वास्थ्य चुनौती का तुरंत जवाब देने के लिए तैयार है.
भारत में चीन के खतरनाक एचएमपीवी वायरस की एंट्री हो गई है, जिसे लेकर स्वास्थ्य मंत्रालय अलर्ट मोड में आ गया है. यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने एचएमपीवी वायरस को लेकर आज बैठक बुलाई है. बता दें कि यूपी के प्रयागराज में इस महीने महाकुंभ मेला लग रहा है, जिसमें करोड़ों लोग जुटेंगे.
भारत में चीन का खतरनाक वायरस ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) पहुंच गया है. दो बच्चों में ये वायरस पाया गया है. फिलहाल इसकी कोई वैक्सीन नहीं है, लेकिन इसके लक्षण सर्दी-जुकाम जैसे होते हैं.
ऐसा दावा किया जा रहा है कि एचएमपीवी वायरस चीन में हजारों लोगों को अपनी गिरफ्त में ले चुका है. वहां हालात बेकाबू हो रहा हैं, अस्पतालों के बाहर मरीजों की भीड़ नजर आ रही है.
चीन का नया वायरस ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस, जिसे एचएमपीवी के नाम से भी जाना जाता है, एक प्रकार का सामान्य श्वसन वायरस है, जो सभी उम्र के लोगों में फैल सकता है. इस वायरस का ज्यादा असर बुजुर्गों और छोटे बच्चों पर होने की आशंका है. वायरस से संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में अगर आप आते हैं तो आप भी इस वायरस से संक्रमित हो सकते हैं.
चार साल बाद एक बार फिर एक खतरनाक वायरस दुनिया में दहशत पैदा कर रहा है. इस वायरस का कनेक्शन भी चीन से है ऐसा कहा जाने लगा है. भारत समेत सभी देश चीन की स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं. WHO ने भी चीन से स्थिति की पूरी जानकारी मांगी है.