हमास के वरिष्ठ अधिकारी की एक मिनट से अधिक की वीडियो फुटेज इंटरनेट पर वायरल हो गई है, जिसमें दावा किया है कि इज़राजल केवल प्रारंभिक लक्ष्य है और उनका लक्ष्य पूरी दुनिया पर अपना प्रभाव बढ़ाना है.
हमास की सशस्त्र शाखा एज़ेदीन अल-कासिम ब्रिगेड ने शनिवार को इज़राइल पर समूह के क्रूर हमले का जिक्र करते हुए एक बयान में कहा, "संघर्ष के दौरान हिरासत में लिए गए एक इजरायली निवासी और उसके दो बच्चों को रिहा कर दिया गया."
आयरन डोम में एक रडार यूनिट, मिसाइल कंट्रोल यूनिट और कई लॉन्चर्स शामिल हैं. यह डिफेंस सिस्टम हर मौसम में काम करने में सक्षम है. 70 किमी के दायरे में आयरन डोम से निकली एंटी मिसाइल हमास रॉकेट को हवा में नेस्तनाबूत कर देती है.
आयरन डोम में एक रडार यूनिट, मिसाइल कंट्रोल यूनिट और कई लॉन्चर्स शामिल हैं. यह डिफेंस सिस्टम हर मौसम में काम करने में सक्षम है. 70 किमी के दायरे में आयरन डोम से निकली एंटी मिसाइल हमास रॉकेट को हवा में नेस्तनाबूत कर देती है.
इराक के न्यूक्लियर रिएक्टर को तबाह करने के बाद इजरायल के सभी फाइटर जेट 40000 फीट की ऊंचाई पर उड़ान भरते हुए जॉर्डन और सऊदी अरब को पार करते हुए 3 घंटे के अंदर अपने एयर बेस पर वापस लौट गए.
भारतीय दूतावास की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के अनुसार, इजरायल में करीब 18000 भारतीय नागरिक हैं. जिनमें मुख्य रूप से इजराइली बुजुर्गों, हीरा व्यापारियों, आईटी पेशेवरों और छात्रों की देखभाल करने के लिए नियुक्त लोग शामिल हैं. इजराइल में भारतीय मूल के करीब 85,000 यहूदी भी हैं, जो 50 और 60 के दशक में भारत से इजरायल गए थे.
Israel Palestine Conflict: इस्लामिक चरमपंथी समूह हमास द्वारा शनिवार को इजरायल पर किए गए हमले के बाद शुरू हुए युद्ध का बुधवार को पांचवा दिन था. आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार इस युद्ध में अब तक 3 हजार से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है. दोनों ही तरफ से एक दूसरे को निशाना बनाया जा रहा है. पूरी दुनिया 2 गुटों में बंट गई है. जहां इजरायल को पश्चिमी देशों का साथ मिल रहा है वहीं हमास को कुछ इस्लामिक देशों की तरफ से मदद मिल रही है.
सायरेट मटकल इजरायली रक्षा बल (आईडीएफ) की विशिष्ट कमांडो इकाई है जिसकी स्थापना 1957 में की गई थी.
सत्ताधारी लिकुड पार्टी के गठबंधन ने इसके लिए एक दिन पहले हामी भरी थी. इसका मतलब ये है कि इजरायल में ऐसी सरकार बनेगी, जिसमें सभी पार्टियां शामिल होंगी. यूनिटी गवर्नमेंट या वॉर कैबिनेट जंग के वक्त बनती है.
ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के मुताबिक, इजरायल-हमास के बीच चल रही जंग से रूस को फायदा होने वाला है. क्योंकि इस वक्त अमेरिका ने अपनी पूरी ताकत इजरायल के पीछे लगा दी है. ऐसे में दुनिया की नजर यूक्रेन से हट गई है. इजरायल-हमास की जंग का एक पहलू ये भी है कि दुनिया में बढ़ती तेल की कीमत रूस की अर्थव्यवस्था के लिए मुफीद है.